संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय की पहल- ज्योतिष की खुलेगी OPD
बीएचयू के बाद अब संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में ज्योतिष की ओपीडी खोलने की तैयारी
मात्र 200 रुपये में मिलेगी भविष्य की जानकारी, सुझाएंगे समस्याओं के निदान
वाराणसी। संस्कृत भाषा के सशक्तिकरण की दिशा में नई पहल सम्पूर्णानन्द विश्वविद्यालय करने जा रहा है। बीएचयू में लंबे समय से ज्योतिष की ओपीडी चल रही थी। अब उसी तर्ज पर संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय में भी ज्योतिष की ओपीडी यानी ज्योतिष परामर्श केंद्र खोलने की तैयारी हो रही है। ज्योतिष परामर्श केंद्र में कोई भी व्यक्ति अपनी कुंडली दिखाकर अपने खराब चल रहे ग्रहों के बारे में जानकारी लेकर उनके निदान की प्रक्रिया को समझ सकता है।
जीवन में आ रही अड़चनों के बारे में वजहों की जानकारी संबंधित को देते हुए उसके निदान के बारे में भी विशेषज्ञ ज्योतिष बताएंगे।
संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय ने लोगों को अपनी समस्याओं के निराकरण के लिए एक वैश्विक संस्था का साथ मिलने की उम्मीद जगी है। इसके लिए स्टांप व न्यायालय शुल्क एवं पंजीयन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रवींद्र जायसवाल ने विधायक निधि में विश्वविद्यालय को 25 लाख रुपये देने की संस्तुति भी की है।
इस क्रम में जिला ग्राम्य विकास अभिकरण के परियोजना निदेशक ने विश्वविद्यालय से एक सप्ताह के भीतर प्रस्ताव मांगा है ताकि धनराशि अवमुक्त किया जा सके। ऐसे में धन का रोड़ा दूर होते हुए विश्वविद्यालय ज्योतिष परामर्श केंद्र को मूर्त रूप देने में जुटा हुआ है। जल्द ही आम लोगों के लिए यह केंद्र काम करना शुरू कर देगा।कुलपति प्रो. हरेराम त्रिपाठी ने बताया कि ज्योतिष परामर्श केंद्र शुरू करने के प्रस्ताव को वित्त समिति व कार्य परिषद की स्वीकृति पहले ही मिल चुकी है। आर्थिक संसाधन के अभाव में परामर्श केंद्र अब तक शुरू नहीं हो सका था। विधायक निधि से पैसा मिलने के बाद परामर्श केंद्र खोलने की तैयारी तेज कर दी गई है।
ज्योतिष विभाग के अध्यक्ष प्रो. अमित शुक्ला ने बताया कि केंद्र में कुंडली दिखाने के लिए 200 रुपये शुल्क निर्धारित किया गया है। इसकी 50 फीसद राशि संबंधित ज्योतिष को बतौर मानदेय दिया जाएगा जबकि शेष राशि में 25-25 फीसद शुल्क विभाग व विश्वविद्यालय कोष में जमा होंगे। इससे संस्था के संचालन के लिए आर्थिक मदद भी मिल सकेगी।