बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव कोर्ट पहुचे हो सकती है जमानत रदद्
सीबीआइ की दलील- गवाहों को दी है धमकी
दिल्ली में राउज एवेन्यू की विशेष सीबीआइ अदालत में पेश
नई दिल्ली डेक्स। IRCTC घोटाला मामले में दिल्ली में राउज एवेन्यू की विशेष सीबीआइ अदालत में मंगलवार को अहम सुनवाई होनी है। कोर्ट के आदेश पर बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव पेश हुए हैं। अगर कोर्ट ने सीबीआइ की अर्जी पर सुनवाई करते हुए जमानत रदद् कर दी तो बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव को जेल भी जाना पड़ सकता है। कोर्ट के फैसले से बिहार सरकार के लिए मुश्किलें भी बढ़ सकती है।
गौरतलब है कि पिछली सुनवाई पर राउज एवेन्यु कोर्ट ने तेजस्वी यादव को पेश होने का निर्देश दिया था। दरअसल, निचली अदालत से मिली जमानत को केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो ने चुनौती दी है। सीबीआइ को तेजस्वी यादव के बयान पर ऐतराज है। कुछ महीने पहले ही बिहार के उप मुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने सीबीआइ द्वारा रेलवे से जुड़े घोटालों के मामले में बिहार में कई जगह छापे मारे गये। इस दौरान राष्ट्रीय जनता दल से जुड़े कई नेताओं के ठिकानों पर सीबीआइ ने तलाशी भी ली, छापों से नाराज तेजस्वी यादव ने खुले मंच से सीबीआइ अफसरों को धमकाने वाला बयान दिया। जिसके बाद सीबीआइ ने तेजस्वी की जमानत के खिलाफ कोर्ट का रुख किया है।
जाने क्या है आइआरसीटीसी घोटाला- आइआरसीटीसी घोटाला वर्ष 2004 से 2009 के बीच का है, जब लालू प्रसाद यादव रेल मंत्री रहे।
आइआरसीटीसी के रांची और पुरी स्थित दो होटलों को लीज पर निजी कंपनी सुजाता होटल प्राइवेट लिमिटेड को दिया गया।
आरोप है कि होटलों को लीज पर दिए जाने के बदले पटना के बेली रोड स्थित करीब तीन एकड़ का कीमती भूखंड लालू परिवार को मिला।
चालाकी दिखाते हुए पहले यह जमीन डिलाइट कंपनी को दी गई और उसके बाद इसे राबड़ी देवी और तेजस्वी यादव की स्वामित्व वाली लारा प्रोजेक्ट कंपनी प्राइवेट लिमिटेड को बेंच दी गई।
वहीं, रेलवे के होटलों को लीज पर देने के एवज में डिलाइट कंपनी को बेशकीमती जमीन दी गई और बाद में उक्त कंपनी से लारा कंपनी ने काफी कम कीमत में जमीन खरीद ली।